आज भी जब किसी स्त्री या पुरुष के विवाह के लिए कुंडली मिलान किया जाता है तो सबसे पहले देखा जाता है कि वह मांगलिक है या नहीं, ज्योतिष के अनुसार यदि कोई व्यक्ति मांगलिक है तो शादी भी किसी मांगलिक से ही की जानी चाहिए, इसके पीछे धारणाएं बनाई गई हैं।
कौन होते हैं मांगलिक?
जब किसी व्यक्ति की जन्म कुंडली के 4,1, 7, 9, 12 वें स्थान या भाव में मंगल स्थित हो तो वह व्यक्ति मांगलिक होता है।
मांगलिक लोगों की खास बातें :-
मांगलिक होने का विशेष गुण यह होता है कठिन से कठिन कार्य वह समय से पूर्व ही कर लेते हैं, नेतृत्व की क्षमता, उनमें जन्मजात होती है, ये लोग जल्दी किसी से घुलते-मिलते नहीं परन्तु जब मिलते हैं तो पूर्णतः संबंध को निभाते हैं, अति महत्वकांक्षी होने से इनके स्वभाव में क्रोध पाया जाता है परन्तु यह बहुत दयालु, क्षमा करने वाले तथा मानवतावादी होते हैं, गलत के आगे झुकना इनको पसंद नहीं होता और खुद भी गलती नहीं करते।ये लोग उच्च पद, व्यवसायी, अभिभावक, राजनीतिज्ञ, डॉक्टर,इंजीनियर सभी क्षेत्रों में विशेष योग्यता प्राप्त करते हैं।
क्यों नहीं मिलने चाहिए 36 गुण?
कुंडली के हिसाब से शादी करने वाले लोग लड़के और लड़की का गुण मिलान करते हैं। कुल 36 गुण होते हैं शादी के लिए कम से कम 18 गुण मिलना जरूरी होता है इससे कम गुण मिलना या 36 गुण मिलना सही नहीं माना जाता क्योंकि भगवान राम और माता सीता के 36 गुण मिले थे। लेकिन शादी के बाद सीताजी को रामजी का साथ बहुत कम मिला, उनका वैवाहिक जीवन सुखी नहीं रहा, अति हमेशा बहुत बुरी होती है चाहे वह गुण का मिलना ही क्यों न हो।